परमेश्वर की खुदाई की शान और उसका एहसान, धन्यवाद मेहरबान, सब तेरी इज्जत
और इकराम, नहीं कोई तुझ से न तो किसी से, तो सक्षम तो निर्माता तो प्राणी,
तो भगवान सब कुछ तो ही तो,
आशीर्वादी जुमलों का एक सीमित संसार
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मानसिक रूप से तिवारी जी उम्र के उस पड़ाव में आ गए हैं जहाँ मात्र आशीर्वाद
देने के सिवाय और कोई काम नहीं रहता। दरअसल उम्र से तो वह लगभग अभी 60 के आस
पास...